
इस मौके पर कृषि सचिव राकेश कंवर ने कहा कि इतने कम समय में प्राकृतिक खेती को गांव-गांव तक पहुंचाना बहुत मुश्किल कार्य था, लेकिन प्रो. चंदेल के अथक प्रयासों के चलते यह संभव हो सका और आज प्राकृतिक खेती देश-विदेश में ख्याति पा चुकी है। उन्होंने कहा कि हम जल्द ही फ्रांस की राष्ट्रीय कृषि संस्था इनरा के साथ प्रमाणीकरण को लेकर अंतरराष्ट्रीय समझौता ज्ञापन हस्ताक्षरित करने जा रहे हैं जिससे इस नवोन्वेषी प्रमाणीकरण प्रणाली को भारत के साथ अन्य देशों में भी लागू किया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि भले ही प्रो. चंदेल को नई जिम्मेवारी मिली हो लेकिन मेरा मानना है कि वे प्राकृतिक खेती के लिए भी समय निकालेंगे और इस योजना को अधिक सफल और किसान हितैषी बनाने के लिए अपने बहुमूल्य सुझाव देते रहेंगे।
प्रो. चंदेल ने कहा कि वे आगे भी प्राकृतिक खेती आंदोलन से जुड़े रहेंगे और प्रदेश को प्राकृतिक खेती राज्य बनाने के लिए हमेशा प्रयासरत रहेंगे।
इस कार्यक्रम में प्राकृतिक खेती खुशहाल किसान योजना की राज्य परियोजना कार्यान्वयन इकाई के अधिकारी और कर्मचारी, कृषि निदेशक डॉ. एनके धीमान समेत कृषि निदेशालय के अधिकारी और समस्त प्रदेश की आतमा टीम के जिला परियोजना निदेशक व उप परियोजना निदेशक व जिला कृषि उप निदेशक मौजूद रहे।