डलहौज़ी हलचल (बकलोह) भूषण गुरंग : पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय बकलोह में मंगलवार को संविधान दिवस धूमधाम से मनाया गया। इस अवसर पर विद्यालय के प्राचार्य अनिल कुमार और स्टाफ सदस्यों ने भारतीय संविधान के जनक डॉ. भीमराव अंबेडकर के छायाचित्र पर पुष्प अर्पित कर उनके योगदान को श्रद्धापूर्वक याद किया।
कार्यक्रम की शुरुआत संविधान की उद्देशिका के सामूहिक पठन से हुई, जिसके बाद भारतीय संविधान पर आधारित प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इस प्रतियोगिता में छात्रों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया और संविधान से जुड़ी रोचक जानकारियां प्राप्त कीं।

संविधान की महत्ता पर विचार-विमर्श
विद्यालय के प्राचार्य अनिल कुमार ने संविधान की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए कहा, “आज हम संविधान दिवस की 75वीं वर्षगांठ मना रहे हैं। 26 नवंबर 1949 को भारतीय संविधान को अंगीकार किया गया था। यह विश्व का सबसे बड़ा लिखित संविधान है और हम विश्व के सबसे बड़े लोकतांत्रिक देश के नागरिक हैं। यह हमारे लिए गर्व और सम्मान की बात है।”
उन्होंने छात्रों और शिक्षकों को संवैधानिक और लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा करने तथा अपने अधिकारों और कर्तव्यों के प्रति जागरूक रहने का संदेश दिया।

शिक्षकों ने भी साझा किये अपने विचार
इस अवसर पर विद्यालय के शिक्षक कपिल कुमार ने भी संविधान की विशेषताओं और देश के विकास में इसके महत्व पर अपने विचार प्रस्तुत किए।
कार्यक्रम के समापन पर सभी ने संविधान के आदर्शों को आत्मसात करने और एक जिम्मेदार नागरिक बनने का संकल्प लिया। यह आयोजन विद्यार्थियों के लिए न केवल ज्ञानवर्धक बल्कि प्रेरणादायक भी रहा।