डलहौज़ी हलचल (शिमला) : मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने आज घोषणा की है कि प्रदेश सरकार ‘हिमाचल प्रदेश राज्य स्कूल शिक्षा पुरस्कार’ योजना शुरू कर रही है। इस योजना का उद्देश्य शिक्षकों द्वारा दी गई महत्वपूर्ण सेवाओं को सम्मानित करना है।
पुरस्कार श्रेणियाँ और पात्रता
मुख्यमंत्री ने बताया कि इस योजना के तहत सामान्य श्रेणी और जनजातीय एवं दुर्गम क्षेत्रों के 24 शिक्षकों को सम्मानित किया जाएगा। चयन प्रक्रिया में विषय आधारित चयन के बजाय शिक्षा में सीखने के परिणामों, रचनात्मकता और नवोन्मेषी योगदान को प्राथमिकता दी जाएगी।
योजना के उद्देश्य
यह योजना शिक्षण क्षेत्र में युवाओं की रुचि को बढ़ाने, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को प्रेरित करने और समाज में शिक्षकों को सर्वोच्च स्थान दिलाने के लिए बनाई गई है। इससे विद्यालयों में शिक्षा की सर्वोत्तम प्रथाओं को प्रोत्साहन मिलेगा।
विशेष पुरस्कार
राज्य सरकार 24 राज्य पुरस्कारों के अलावा, विभिन्न फ्लैगशिप योजनाओं के सफल कार्यान्वयन के लिए 6 विशेष पुरस्कार भी प्रदान करेगी। विशेष पुरस्कारों के लिए जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थानों, राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद, सर्व शिक्षा अभियान, और राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान में कार्यरत अध्यापक भी पात्र होंगे।
पुरस्कार वितरण
पुरस्कृत अध्यापकों को स्मृति चिन्ह, मेडल, हिमाचली टोपी, शॉल, प्रशस्ति पत्र और प्रमाण-पत्र दिया जाएगा। वर्तमान वर्ष के 31 मार्च तक कार्यरत अध्यापक इस योजना के अंतर्गत पात्र होंगे।
आवेदन प्रक्रिया
अध्यापक 16 जुलाई से 30 जुलाई तक ऑफलाइन माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। जिला स्तरीय समिति आवेदनों की जांच करेगी, और चयन प्रक्रिया की वीडियो रिकॉर्डिंग अनिवार्य होगी। प्रत्येक आवेदक को राज्य स्तरीय समिति के समक्ष एक प्रस्तुति भी देनी होगी।
गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की दिशा
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार विद्यार्थियों को घर-द्वार के निकट गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। इसके लिए शिक्षकों को अन्य देशों में शैक्षणिक यात्राओं के माध्यम से ज्ञानवर्धन किया जाएगा, ताकि वे प्रदेश के विद्यार्थियों को उच्च स्तर की शिक्षा प्रदान कर सकें।
यह योजना न केवल शिक्षकों की मेहनत को मान्यता देगी, बल्कि प्रदेश की शिक्षा प्रणाली को भी मजबूत करेगी।