डलहौज़ी हलचल (नूरपुर) : : राजकीय महाविद्यालय रिड़कमार में 78वें स्वतंत्रता दिवस को हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। ‘हर घर तिरंगा’ और ‘विकसित भारत’ अभियान के अंतर्गत आयोजित इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. युवराज सिंह पठानिया ने शिरकत की। कार्यक्रम के दौरान पूरा महाविद्यालय देशभक्ति के रंगों में रंगा दिखा, जहां विद्यार्थियों और शिक्षकों ने मिलकर स्वतंत्रता सेनानियों को श्रद्धांजलि दी और “वंदे मातरम” के नारों से माहौल को देशभक्तिमय बना दिया।
कार्यक्रम की शुरुआत और सांस्कृतिक प्रस्तुतियां
मंच संचालन का कार्य मीना और शिवानी ने अत्यधिक उत्साह और ऊर्जा के साथ किया। कार्यक्रम का आरंभ मां सरस्वती वंदना से हुआ, जिसके बाद विद्यार्थियों ने एक के बाद एक सांस्कृतिक प्रस्तुतियां दीं। इन प्रस्तुतियों में एकल गान, समूह गान, एकल नृत्य और समूह नृत्य ने सबका मन मोह लिया। मुख्य अतिथि डॉ. युवराज सिंह पठानिया ने अपने संबोधन में स्वतंत्रता संग्राम के महानायकों की वीर गाथाएं सुनाकर युवाओं में देशभक्ति की भावना को और प्रबल किया।
प्रतियोगिताएं और विजेताओं का सम्मान
स्वतंत्रता दिवस के उपलक्ष्य में महाविद्यालय में कई प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया:
- पोस्टर मेकिंग प्रतियोगिता: प्रथम स्थान पायल डोगरा, द्वितीय स्थान आशा।
- ग्रीटिंग कार्ड प्रतियोगिता: प्रथम स्थान मीनाक्षी देवी, द्वितीय स्थान नीलाक्षी।
- स्वतंत्रता संग्राम पर भाषण प्रतियोगिता: प्रथम स्थान सोनिया पठानिया, द्वितीय स्थान कल्पना।
- एकल गान: महक, सुहानी, मीरा, और नीलाक्षी की मंत्रमुग्ध कर देने वाली प्रस्तुति।
- एकल नृत्य: रिंकी देवी और कशिश द्वारा मनमोहक नृत्य।
- समूह गान: अंजलि, पूजा, रीता और अंजलि जरियाल ने देशभक्ति गीत से समां बांधा।
इसके अतिरिक्त, महाविद्यालय में प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया, जिसका संचालन प्रोफेसर आशा मिश्रा ने किया। नेहरू टीम की रेखा, कल्पना, निखिल और अविनाश ने प्रथम स्थान प्राप्त किया, जबकि टैगोर टीम की मीना, कविता, मधु और दीक्षा ने द्वितीय स्थान हासिल किया।
मुख्य अतिथि का विशेष योगदान
डॉ. युवराज सिंह पठानिया ने भी इस विशेष अवसर पर एक देशभक्ति गीत प्रस्तुत किया, जिससे बच्चों में और भी अधिक उत्साह का संचार हुआ।
कार्यक्रम में महाविद्यालय के अन्य प्रोफेसर, जैसे हाकम चंद, मनोज कुमार, भूपेंद्र सिंह, आशा मिश्रा, और श्री वेद राम भी उपस्थित रहे।