डलहौज़ी हलचल (चंबा): राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला सिढकुंड में शुक्रवार को चाइल्ड हेल्पलाइन चंबा द्वारा एक जागरूकता शिविर आयोजित किया गया। इस विशेष कार्यक्रम में स्कूल के बच्चों, अध्यापकों और नॉन-टीचिंग स्टाफ ने सक्रिय रूप से भाग लिया। कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य बच्चों को चाइल्ड हेल्पलाइन नंबर 1098 की कार्यप्रणाली और सेवाओं के बारे में जानकारी देना था, जिससे वे अपनी सुरक्षा और अधिकारों के प्रति जागरूक हो सकें।
चाइल्ड हेल्पलाइन 1098: बच्चों की सुरक्षा के लिए सेवाएं
शिविर के दौरान चाइल्ड हेल्पलाइन समन्वयक कपिल शर्मा और केस वर्कर काजू राम जरयाल ने बच्चों और उपस्थित स्टाफ को चाइल्ड हेल्पलाइन 1098 की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि यह टोल-फ्री सेवा अनाथ, शोषित, घर से भागे हुए, बाल मजदूरी और बाल विवाह जैसे समस्याओं से ग्रसित बच्चों के लिए कार्यरत है। इसके माध्यम से किसी भी प्रकार के शोषण, उत्पीड़न या दुर्व्यवहार का सामना करने वाले बच्चे मदद मांग सकते हैं।
पोक्सो अधिनियम और बच्चों के अधिकारों पर चर्चा
कार्यक्रम के दौरान बच्चों को पोक्सो अधिनियम (Protection of Children from Sexual Offences Act) के बारे में भी जागरूक किया गया। उन्हें बताया गया कि बाल तस्करी, शारीरिक उत्पीड़न और बाल शोषण के खिलाफ कानूनी सुरक्षा के क्या उपाय हैं और यदि किसी बच्चे का अधिकार छीना जा रहा है, तो उसे कैसे रिपोर्ट किया जा सकता है।
सोशल मीडिया सुरक्षा और अनुशासन पर विशेष जोर
कार्यक्रम में सोशल मीडिया सुरक्षा के महत्व पर भी चर्चा की गई। चाइल्ड हेल्पलाइन टीम ने बच्चों को बताया कि सोशल मीडिया का सही उपयोग कैसे किया जाए और अनजान लोगों से संपर्क न करने की सलाह दी गई। इसके साथ ही, ब्लैकमेलिंग और साइबर क्राइम से बचने के तरीके भी बताए गए। बच्चों को सोशल मीडिया के फायदे और नुकसान के बारे में जागरूक किया गया, जिससे वे अपने ऑनलाइन अनुभवों में सतर्क और सुरक्षित रह सकें।
बाल तस्करी, नशे की लत और लक्ष्य निर्धारण पर मार्गदर्शन
चाइल्ड हेल्पलाइन की टीम ने बाल तस्करी और नशे जैसी सामाजिक बुराइयों पर भी चर्चा की। उन्होंने बच्चों को समझाया कि किस प्रकार ये समस्याएं समाज में विकराल रूप ले रही हैं और इससे कैसे बचा जा सकता है। इसके साथ ही, बच्चों को अपने जीवन में स्पष्ट लक्ष्य निर्धारित करने और सकारात्मक दिशा में काम करने के लिए प्रेरित किया गया।
300 से अधिक प्रतिभागियों ने लिया भाग
इस जागरूकता कार्यक्रम में लगभग 300 बच्चों, अध्यापकों और नॉन-टीचिंग स्टाफ ने भाग लिया। सभी ने चाइल्ड हेल्पलाइन 1098 के महत्व को समझा और कार्यक्रम के माध्यम से सीखी गई जानकारी को अपने जीवन में लागू करने का संकल्प लिया। चाइल्ड हेल्पलाइन टीम ने बच्चों को सुरक्षित और असुरक्षित स्पर्श के बीच का अंतर भी बताया, जिससे वे भविष्य में किसी भी प्रकार की अनुचित घटना से खुद को बचा सकें।
बाल अधिकारों और जागरूकता पर भविष्य की पहल
यह कार्यक्रम बच्चों की सुरक्षा और उनके अधिकारों की रक्षा करने के उद्देश्य से आयोजित किया गया था। इसके तहत बच्चों को शिक्षा, सुरक्षा और स्वास्थ्य से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियां दी गईं। भविष्य में भी इस प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा ताकि बच्चों को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक किया जा सके और वे किसी भी प्रकार की कठिनाई का सामना करने में सक्षम बन सकें।
चाइल्ड हेल्पलाइन 1098 के माध्यम से कैसे प्राप्त करें मदद
यदि आपको या किसी अन्य बच्चे को सहायता की आवश्यकता हो, तो तुरंत चाइल्ड हेल्पलाइन 1098 पर कॉल करें। यह सेवा 24×7 उपलब्ध है और आपकी सुरक्षा के लिए तत्पर है।